Reliance Jio IPO : टेलीकॉम कंपनी रिलायंस Jio के आईपीओ (IPO) का लंबे समय से निवेशको द्वारा इंतजार किया जा रहा है। जी हां इसमें बोली लगाने के लिए निवेशक पिछले 5 सालों से इंतजार कर रहे हैं। रिलायंस जिओ का यह आईपीओ (Reliance Jio IPO) भारत का सबसे बड़ा आईपीओ होने वाला है। अब ऐसी स्थिति में इस आईपीओ को बेहतरीन रिस्पॉन्स मिलने की उम्मीद जताई जा रही है।
हालांकि अब तक इसकी कोई भी तारीख सामने नहीं आई है। जिओ इस आईपीओ के माध्यम से लगभग 6 बिलियन डॉलर इकट्ठा कर सकती है ।अगर ऐसा हुआ तो यह अब तक का सबसे बड़ा आईपीओ बन जाएगा।
मुकेश अंबानी के मालिकाना हक वाली टेलीकॉम कंपनी रिलायंस जिओ के महा आईपीओ 2025 दूसरी या तीसरी तिमाही में लांच होने की उम्मीद जताई जा रही है। इस आईपीओ के माध्यम से रिलायंस जिओ बाजार में 6.25 बिलियन डॉलर के आसपास रकम इकट्ठा कर सकती है। जबकि आईपीओ के माध्यम से तो रिलायंस जिओ 100 बिलियन डॉलर वैल्यूएशन हासिल करने का लक्ष्य बनाए हुए हैं।
2186 रुपए तक जाएगा RIL
विदेशी ब्रोकरेज हाउस सीएलएसए की रिपोर्ट के मुताबिक रिलायंस का यह आईपीओ (Reliance Jio IPO) लेट हो जाने के कारण रिलायंस के शेयर में भी ठंडा कारोबार देखने को मिला है। जी हां रिलायंस के रिटेल का कारोबार भी धीमा पड़ गया है। हालांकि कंपनी की तरफ से पूरा प्रयास किया जा रहा है कि रिटेल के कारोबार को तेजी के रूख की तरफ मोडा जाए।
उम्मीद जताई जा रही है कि निवेशकों का रुख रिलायंस की तरफ तेजी से बढ़ेगा, जिससे अच्छा रिटर्न शेयर मिलेगा। सीएलएसए द्वारा रिलायंस इंडस्ट्रीज के स्टॉक का 2186 का लक्ष्य दिया गया लेकिन इसका मौजूदा लेबल 1267 रुपए से 72.50 फ़ीसदी अधिक है।
Reliance Jio IPO से जुटा सकती है 6.25 बिलियन डॉलर
अगर कंपनी की वैल्यूएशन पर नजर डालें तो यह लगभग 125 बिलियन डॉलर की है। ऐसी स्थिति में इसका आईपीओ 6.25 बिलियन डॉलर का हो सकता है। कंपनी के इस आईपीओ में प्रमोटर्स द्वारा 5 फ़ीसदी तक की हिस्सेदारी बेची जा सकती है। इसके साथ-साथ सेबी के नियमों पर नजर डालें तो प्रमोटर्स के लिए आईपीओ के लॉन्च करने के समय कम से कम पांच फीसदी हिस्सेदारी को बेचना आवश्यक होता है।
साल 2025 में रिलायंस जिओ का आईपीओ (Reliance Jio IPO) बाजार में दस्तक दे सकता है। इसके साथ-साथ यह भी बता दे की कंपनी की तरफ से रिलायंस रिटेल का आईपीओ भी बाजार में लाया जाएगा, जिसके चलते रिलायंस रिटेल भी 125 से 150 बिलियन डॉलर के वैल्यूएशन पर आईपीओ से रकम इकट्ठा कर सकती है।
5 साल में लिस्ट कराने का था लक्ष्य
रिलायंस इंडस्ट्रीज के अध्यक्ष मुकेश अंबानी द्वारा कोरोना पूर्व 2019 से पहले ही एजीएम मीटिंग के दौरान 5 सालों में रिलायंस जियो और रिलायंस रिटेल को स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्ट करने की घोषणा की गई थी, लेकिन इस प्लान में लगातार देरी होती रही। अभी रिलायंस जिओ के आईपीओ को लेकर ग्रुप की तरफ से किसी प्रकार का कोई आधिकारिक स्टेटमेंट नहीं दिया गया है।
रिलायंस जिओ सबसे बड़ी टेलीकॉम कंपनी
रिलायंस जिओ देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम प्रोवाइड कंपनी है। जिसके मुताबिक माना जा रहा है कि रिलायंस जिओ का वैल्यूएशन भारतीय एयरटेल की अपेक्षा अधिक रह सकता है। जहां रिलायंस जिओ के 480 बिलियन यानी 48 करोड़ सब्सक्राइबर मौजूद है, वहीं भारतीय एयरटेल के सिर्फ 40 करोड़ या 400 मिलियन सब्सक्राइबर है।
हालांकि प्रति यूजर औसत रेवेन्यू के अनुसार रिलायंस जिओ भारतीय एयरटेल से पीछे चल रहा है। जहां भारतीय एयरटेल का प्रतीक औसत रेवेन्यू 211 रुपए है, वहीं रिलायंस जिओ का सिर्फ 194 रुपए ही है।
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